पति को टिकट मिला तो पत्नी, सफिया ने पकड़ा बग़ावती सुर.. कहा - ये गलत हुआ, ये समाज पुरुष प्रधान!

RAJASTHAN ELECTION 2023: अलवर जिले की रामगढ़ विधानसभा सीट, ये तब सुर्खियों में आ गई जब रविवार को कांग्रेस की दूसरी सूची जारी हुई और पत्नी का टिकट का काटकर पार्टी ने उसके पति को टिकट दिया.. फिर क्या था जो बवाल कटा उसकी पूरे राजस्थान में चर्चा हो रही है

Natansh Patel
  • Oct 24 2023 2:45PM

दरअसल.. वर्तमान विधायक सफिया जुबेर खान का टिकट काटकर उनके पति यानी मेवात विकास बोर्ड के अध्यक्ष जुबेर खान को टिकट दिया गया. जैसे ही उनके नाम की घोषणा हुई तो विरोध का पहला उनके सुर घर में ही उठा.. जुबेर की पत्नी मौजूदा विधायक सफिया ने कहा पार्टी ने टिकट काटकर गलत किया.. वहीं मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार जब विधायक और उनके पति का इंटरव्यू लिया गया तो दोनों ने कई कई हैरान कर देने वाले खुलासे किए


विधायक सफिया का इंटरव्यू...

सवाल :  अधिकतर विधायकों को टिकट मिले, आपका क्यों काटा गया?
जवाब : मुझसे बेहतर उम्मीदवार को टिकट दिया, ये अच्छी बात है लेकिन मेरा टिकट काटना अच्छा नहीं लगा. पार्टी के सर्वे में जनता ने चाहा था कि जुबेर जी को लड़ाया जाए मगर अच्छा है पार्टी ने आवाम को तवज्जो दी..

सवालपार्टी का साथ देंगी या इससे अलग कदम उठाएंगी?
जवाब : राजनीति की वजह से घर में झगड़ा नहीं करना है, घर में हम सब एक हैं. प्रचार में बिल्कुल साथ निभाऊंगी, हालाँकि मेरे समर्थक निराश है लेकिन यहां तो हम दोनों ही है.. टिकट किसी को भी मिले, फर्क नहीं पड़ता..

सवाल: सर्वे में आप पिछड़ी? क्या आपने रामगढ़ में काम नहीं कराए?
जवाब : एरिया में खूब काम हुआ. CM साहब ने सब कुछ दिया, कामों को लेकर लोग पॉजिटिव काफी हैं.  उन्होंने कहा रामगढ़ में जुबेर जी की छवि सॉफ्ट है, मगर मेरी छवि जनता में कड़क बना दी गई.. शायद समाज पुरुष प्रधान है, महिलाएं 100% स्वीकार नहीं है.

सवाल : आगे क्या प्लान रहेगा, राजनीति में रहेंगी या कोई और विकल्प देखेंगी?
जवाब: राजनीति का अर्थ सिर्फ विधायक बनना नहीं होता लोगों को जोड़ने और महिलाओं को राजनीति में बढ़ाने का काम होगा.. संगठन या किसी और प्लेटफार्म पर काम करूंगी, पार्टी जहां भेजेगी, वहां विकास करूंगी.

 

अब पढ़िए उनके पति विधायक उम्मीदवार जुबेर खान का इंटरव्यू...

सवालटिकट कटने से आपकी पत्नी सफिया आपसे नाराज हैं?
जवाब: ये कांग्रेस पार्टी का फैसला, 2018 में मेरा टिकट सफिया को दिया गया था..

सवालमौजूदा विधायक टिकट मांग रही थी तो आपने क्यों मांगा?
जवाबमैंने कोई टिकट नहीं मांगा, टिकट के लिए मैंने आवेदन भी नहीं किया.. पार्टी को जो लगा वो फैसला किया.. अब मुझे पार्टी ने टिकट दिया है, उसकी की पालना होगी.

सवालटिकट नहीं मांगा तो पार्टी ने आपका सर्वे कैसे करवाया?
जवाब-: मुझे थोड़े ही पता किस आधार पर टिकट दिया, पार्टी ने जो सही समझा वो फैसला लिया.. 

सवाल-: सफिया का कहना है कि टिकट काटकर गलत किया?
जवाब-: ये उनकी सोच हो सकती है, इस पर मैं क्या कह सकता हूं? ये तो उनपर है वो ऐसा क्यों कह रही हैं..

सवाल-: क्या सफिया पार्टी के लिए प्रचार में नज़र आएँगी?
जवाब-: उन्हें पार्टी के साथ रहना चाहिए, प्रचार भी करना चाहिए. अभी भी समय है. नामांकन नहीं भरे गए हैं. देखते हैं, आगे क्या रहता है. पार्टी का निर्णय सभी को मानना होगा.


जुबेर को प्रियंका की नजदीकी काम आई
कांग्रेस के सर्वे में विधायक सफिया जुबेर खान पीछे चल रही थीं, उनका क्षेत्र में भी विरोध था। ऐसे में पार्टी ने उनकी जगह पति जुबेर खान को प्रत्याशी बनाया है ज़ाहिर है कि जुबेर के पास राजनीति का लंबा अनुभव है, वे 3 बार, 1990, 1993 और 2003 में  विधायक रह चुके हैं. उनकी हर समाज में मजबूत पकड़ है साथ ही वे गांधी परिवार के भी नजदीकी माने जाते हैं. यूपी विधानसभा चुनाव में उन्होंने प्रियंका गांधी के साथ काम किया था.


वही उनकी पत्नी सफिया जुबेर खान ने पीपली बार भाजपा के सुखवंत सिंह को 12 हजार 228 वोट से हराया था, मेवात क्षेत्र की इस सीट पर हिंदू-मुस्लिम वोटों के ध्रुवीकरण पर चुनाव होता आया है. इस सीट से भाजपा के ज्ञानदेव आहूजा भी तीन बार विधायक रह चुके हैं.. भाजपा से ज्ञानदेव आहूजा खुद या अपने भतीजे जय आहूजा के लिए टिकट मांग रहे हैं, अब देखना ये होगा कि इस बार भाजपा आहूजा पर दांव खेलेगी या पिछले उम्मीदवार सुखवंत पर या फिर किसी नए चेहरे को मैदान में उतारेगी

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